रामरतन सिह पवांर/गढ़़वाल ब्यूरो।
चिरबटिया मे प्रशासन द्वारा चार धाम जाने आने वाले यात्रियों के लिए नही कोई सुविधा।
जलसंस्थान के हैण्डपम्प से निकल रहा लाल पानी। पीने के पानी के लिए तरसते है चिरबटिया मे रूकने वाले श्रदालु।
यात्रियों की सुविधा के लिए जिला प्रशासन द्वारा आज तक नही बनाया गया शौचालय और नाही कोई वैकल्पिक व्यवस्था।
जखोली-सरकारी तंत्र चाहे पहाड़ की जनता को मूल भूत सुविधाएं देने के लिये चाहे हजारो दावे क्यो न करे लेकिन इस आधुनिक युग मे आज भी पहाड़ के सैकड़ो गाँवो की समस्या जस की तस बनी हुई है। आपको बता दे कि जनपद रुद्रप्रयाग और टिहरी की सीमा मे बसा एक छोटा सा स्थान जो कि यात्रा की दृष्टि से चार धाम यात्रा का मुख्य पड़ाव भी माना जाता है। यात्राकाल मे हजारो वाहन इसी मोटर मार्ग से हर साल चारो धाम यानी श्री कदारनाथ,बद्रीनाथ, गंगोत्री व यमनोत्री के दर्शन हेतू यात्री चिरबटिया होते हुये गुजरते है।
इस दौरान सैकड़ों यात्री वाहन रात्री विश्राम के लिए चिरबटिया मे रुकते हैlयहां के लोकल दुकानदारो ने अपने अपने लाँज बना रखे है । सैकड़ो यात्री रात्री के समय इस स्थान पर रात्री विश्राम करते है, चार धाम श्रदालुओं के लिए होटल मालिकों द्वारा अच्छी खाने पीने की व्यवस्था रहती है, लेकिन विडम्वना इस बात की है कि शासन प्रशासन की और से यात्रियों के लिए कोई सरकारी व्यवस्था नही है। सबसे बड़ी समस्या चिरबटिया मे यात्रा काल के दौरान पीने के पानी की है। यहां से गुजरनेवाली वाले यात्रियों को पीने का पानी नसीब नही होता है। पीने के पानी के लिए रुद्रप्रयाग जलसंस्थान ने एक हैण्डपम्प जरुर लगाया है उसमे भी आने वाला पानी पीने योग्य नही है हैण्डपम्प मे कई दिनो से लाल पानी आ रहा है, जिस संम्बंध
कुछ दिन पूर्व वट्सऐप के माध्यम से जलसंस्थान के अधिशासी अभियंता को दे दी गयी थी लेकिन जलसंसाधन के अधिकारियों के कान मे जूँ तक नही रेंगा। दूसरी सबसे बड़ी समस्या चिरबटिया मे जिला प्रशासन ने आजतक कोई शौचालय तक नही बनाया जिससे कि यात्री शौचालय का प्रयोग कर सके। पूर्व प्रधान रूप सिह मैहरा, सुनील सिह कैन्तूरा, कमल सिह मेहर, पूर्व प्रधान प्रेम सिह मैहरा, धन सिह मैहरा आदि लोगो का कहना है कि चिरबटिया मे पीने के पानी की व्यवस्था व शौचालय के निमार्ण हेतू चिरबटिया बाजार के व्यापारी सालो से शासन प्रशासन से माँग करते आ रहे है मगर जिला प्रशासन यहां के व्यापारियों की एक भी नही सुनता। जिनकी लापरवाही का नतीजा यात्राकाल मे देश विदेश से चिरबटिया मे रुकने वाले यात्रियों को करना पड़ता है।