भू धंसाव होने से बैनोली गावं में कमल किशन सेमवाल की गोशाला पर संकट के बादल

भूधंसाव और बरसाती गदेरे और नदियों में जल स्तर बढ़ने से इनके किनारों पर रहने वाले लोग आशंकित हैं। क्योंकि लोग अभी केदारनाथ की घटना से उबरे नहीं हैं,
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रामरतन पंवार/गढ़वाल ब्यूरो 

 भू धंसाव होने से बैनोली गावं में कमल किशन सेमवाल की गोशाला पर संकट के बादल।


पर्वतीय  क्षेत्रों  में लगातार हो रही बरसात कारण भूधंसाव और पहाड़ियों टूटने की घटनाएं अत्याधिक बढ़ गयी हैं।  इस प्राकृतिक आपदा से जन जीवन अधिक प्रभावित हो रहा है।  लगातार हो रहे भूधंसाव और बरसाती गदेरे और नदियों में जल स्तर बढ़ने से इनके किनारों पर रहने वाले लोग आशंकित हैं।  क्योंकि लोग अभी केदारनाथ की घटना से उबरे नहीं हैं। 

इसी क्रम में दिनांक 20 अगस्त 2022 की रात्रि को लगातार  हुयी बरसात कारण विकासखंड जखोली के बैनोली गावं में श्री कमल किशन सेमवाल की गोशाला के आँगन से आगे अत्यधिक भूधंसाव होने के कारण इनकी गोशाला अत्यधिक खतरे में आ गयी है।  सुरक्षा की दृष्टि से इनके द्वारा अपने पशुओं गावं में अन्य की गोशाला में अपने पशुओं को बाँधने की व्यवस्था कर रखी है। 

जिस स्थान पर यह भूधंसाव हुआ है वह स्थान बैनोली गावं में पशुओं की छानियों का स्थान है यही पर मुकेश सेमवाल, हरीश सेमवाल, हरीश चंद्र सेमवाल, प्रेमबललभ सेमवाल और विजय प्रकाश सेमवाल की गोशालाएं आसपास हैं जिसके कारण इन लोगों में भी इस भूधंसाव के  दहशत बनी हुई है। 

तहसील प्रसाशन जखोली से मोके का मुआवना करवाया गया है पर अभी तक कोई आश्वाशन या मदद नहीं मिली है जबकि कमल किशन सेमवाल  आर्थिक स्थिति सही नहीं है।  हिमालय  न्यूज पोर्टल का जिला प्रशासन रुद्रप्रयाग से अनुरोध है कि जिन भी स्थानों पर इस तरह भूधंसाव होने से गोशालाओं को नुकसान हो गया है या खतरे की जद में गोशालाएं आ रही हैं उन्हें उचित मद में जोड़कर प्रभावितों को अतिशीघ्र अनुदान या किसी योजना  अंतर्गत गोशाला निर्माण हेतु बजट धनराशि का प्रावधान कर जिससे कि पीड़ितों को तत्काल सहायता पहुंचाई जा सके।  


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