रामरतन पवांर/गढ़वाल ब्यूरो
घरड़ा गाँव के बिक्रम के आवासीय भवन के ऊपर से भारी मलबा आने से मकान दबने की जाँच करने की बाद भी प्रशासन ने अब तक नही ली बेघर परिवार की कोई सुध। नही है परिवार के रहने खाने की व्यवस्था।
पूरा परिवार खुले आसमान के नीचे राते गुजारने को हैं विवश।
बेघर हुऐ परिवार को राहत के नाम पर दिया गया खाली टेन्ट। आखिर कैसा न्यायपूर्ण व्यवहार है प्रशासन का आपादा पीड़ितों के प्रति।
जखोली-जखोली तहसील सीमान्तगर्त 24 अगस्त को भारी अतिवृष्टि के चलते लुठियाग/चिरबटिया, त्यूखँर, बुढ़ना,घरड़ा, मखेत मे भारी भूधँसाव हो गया के कारण कई परिवारों के कृषि भूमि तवाह हो गयी थी, साथ ही साथ मकान भी खतरे की जद मे आ गये थे। सूचना मिली है कि जखोली प्रशासन की टीम एक बार पुनः घरड़ा गाँव मे मौका मुयाना करने गयी है।
ज्ञात हो कि विगत 4 दिन पूर्व ग्राम पंचायत घरड़ा मे विक्रम पुत्र रुपसा व जसपाल के मकान के ऊपर से भारी भरकम मलबा आन जाने से दोनो भाईयो का आवासीय का छत पूर्ण रुप से दब गया और मकान पर बड़ी बड़ी-बड़ी दरारे पड़ गयी।
आपको बता दे कि इससे पूर्व भी भारी बारिश के चलते बिक्रम के मकान का आँगन, गौशाला, शौचालय आदि क्षतिग्रस्त हो गया था और बार फिर कुदरत ने ऐसा कहर परपाया कि घर से बिक्रम के परिवार को घर से बेघर कर दिया।
वही बिक्रम का कहना है कि मै और मेरा परिवार इस आपदा की घड़ी मे खुले आसमान के नीचे रहने को मजबूर है। बिक्रम ने भारी खतरे को देखते हुए 24 अगस्त को ही अपना मकान छोड़ दिया था और तब से किसी तरह खुले मे रात बिता रहा है उन्होंने बताया कि मेरा कुछ सामान सड़क के स्कवर के अंदर रखा हुआ है, बिस्तर गीले हो रखे है, और भैस किसी के घर पर बाँध रखी है।
पूछे जाने पर कि प्रशासन की टीम जाँच पर आयी थी या नही तो उत्तर मिला कि आयी थी और जाँच के बाद आश्वासन देकर चली गयी। उन्होंने बताया कि मेरे परिवार की स्थिति का जायजा लेकर जखोली तहसील प्रशासन झूठे अश्वान देने के बाद चला तो गया लेकिन राहत के नाम केवल एक टेन्ट दिया गया , नगद धनराशि अभी नही दी गयी।
वही ग्राम पंचायत लुठियाग मे बलदेव सिह पुत्र सूरबीर सिह का आवासीय भवन के आँगन का पूरा पुस्ता क्षतिग्रस्त हो गया था जिससे कि उसका पूरा मकान खतरे की जद मे आ गया बलदेब सिह ने बताया कि जब बारिश हो रही तो मेरा परिवार अंदर रहने से डर रहा है। मुझे भी प्रशासन की तरफ से कोई राहत नही मिली है।
वही घरड़ा की प्रधान श्रीमती ममता देवी, पूर्व प्रधान बलवीर सिह, सामाजिक कार्यकर्ता उत्तम सिह बुटोला, जितेन्द्र सिह बुटोला आदि ने बिक्रम को राहत सामग्री सहित उचित मुआवजा देने की माँग की।




